बांग्लादेश में फिर निशाने पर हिंदू: जमात-ए-इस्लामी के उपद्रवियों ने हिंदुओं के 65 घरों में आग लगाई, मंदिर में भी हो चुकी तोड़फोड़

न्यूज डेस्क, अमर उजाला, नई दिल्ली
Published by: प्रांजुल श्रीवास्तव
Updated Mon, 18 Oct 2021 12:39 PM IST

सार

बांग्लादेश में दुर्गा पूजा के दौरान शुरू हुई हिंसा थमने का नाम नहीं ले रही है। इस हिंसा में अल्पसंख्यक हिंदुओं को निशाना बनाया जा रहा है। इससे पहले मंदिर में हुई हिंसा में चार हिंदुओं की मौत हो गई थी। 

 

बांग्लादेश में हिंदुओं के घरों में लगाई गई आग
– फोटो : ANI

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बांग्लादेश में हिंदुओं पर हमले रुकने का नाम नहीं ले रहे हैं। अब खबर आ रही है कि रविवार रात को उपद्रवियों ने रंगपुर के पीरगंज में 65 से ज्यादा हिंदुओं के घरों में आग लगा दी है। स्थानीय संघ परिषद के अध्यक्ष के मुताबिक, कम से कम 65 हिंदुओं के घर पर हमला किया गया और उन्हें आग के हवाले कर दिया गया है। इसमें 20 घर पूरी तरह जल चुके हैं। 

सोशल मीडिया पोस्ट के बाद हुआ बवाल 
हिंदुओं के घरों में आग लगाए जाने की वजह एक सोशल मीडिया पोस्ट को बताया जा रहा है। सामने आ रहा है कि एक शख्स ने फेसबुक पर आपत्तिजनक पोस्ट किया था। इसके बाद तनाव पैदा हो गया और उपद्रवियों ने उस शख्स के घर पर हमला बोल दिया। पुलिस ने मौके पर पहुंचकर उसको तो सुरक्षा प्रदान कर दी, लेकिन उपद्रवियों ने आसपास के घरों को आग के हवाले कर दिया। ढाका ट्रिब्यून के अध्यक्ष मोहम्मद सादकुल इस्लाम ने बताया कि उपद्रवी जमात-ए-इस्लामी और छात्र शाखा इस्लामी छात्र शिविर की स्थानीय इकाई के छात्र थे। 

गृहमंत्री के बयान के बाद हुआ हमला 
बांग्लादेश में हिंदुओं पर हुए हमलों पर सोमवार को गृह मंत्री असदुज्जमां खान ने बयान दिया था। उन्होंने कहा था कि जानबूझ कर देश का माहौल बिगाड़ने का प्रयास किया जा रहा है। इन हमलों के पीछे एक सोची-समझी साजिश है। उन्होंने कहा था कि हमलों की जांच की जा रही है, जो भी दोषी होगा उसे सजा दी जाएगी। 

13 अक्तूबर से शुरू हुए थे हमले 
बांग्लादेश में 13 अक्तूबर से हिंदुओं पर हमले शुरू हुए हैं। पहले अलग-अलग स्थानों पर दुर्गा पंडालों को निशाना बनाया गया था और हिंदुओं पर हमला किया गया था। इसमें चार हिंदुओं की मौत हो गई थी, वहीं 60 से ज्यादा घायल हो गए थे। इसके बाद इस्कॉन मंदिर को भी निशाना बनाया गया और तोड़फोड़ की गई थी। 

इस्कॉन ने की कार्रवाई की मांग 
बांग्लादेश में हिंदुओं और इस्कॉन मंदिर पर हमले के बाद इस्कॉन सोसायटी की ओर से बयान जारी किया गया है। इसमें बांग्लादेश में हुए हिंदुओं पर हमले की निंदा की गई है साथ ही बांग्लादेश सरकार से मांग की गई है कि हमलों पर त्वरित कार्रवाई करते हुए दोषियों को सख्त से सख्त सजा दी जाए।  
 

विस्तार

बांग्लादेश में हिंदुओं पर हमले रुकने का नाम नहीं ले रहे हैं। अब खबर आ रही है कि रविवार रात को उपद्रवियों ने रंगपुर के पीरगंज में 65 से ज्यादा हिंदुओं के घरों में आग लगा दी है। स्थानीय संघ परिषद के अध्यक्ष के मुताबिक, कम से कम 65 हिंदुओं के घर पर हमला किया गया और उन्हें आग के हवाले कर दिया गया है। इसमें 20 घर पूरी तरह जल चुके हैं। 

सोशल मीडिया पोस्ट के बाद हुआ बवाल 

हिंदुओं के घरों में आग लगाए जाने की वजह एक सोशल मीडिया पोस्ट को बताया जा रहा है। सामने आ रहा है कि एक शख्स ने फेसबुक पर आपत्तिजनक पोस्ट किया था। इसके बाद तनाव पैदा हो गया और उपद्रवियों ने उस शख्स के घर पर हमला बोल दिया। पुलिस ने मौके पर पहुंचकर उसको तो सुरक्षा प्रदान कर दी, लेकिन उपद्रवियों ने आसपास के घरों को आग के हवाले कर दिया। ढाका ट्रिब्यून के अध्यक्ष मोहम्मद सादकुल इस्लाम ने बताया कि उपद्रवी जमात-ए-इस्लामी और छात्र शाखा इस्लामी छात्र शिविर की स्थानीय इकाई के छात्र थे। 

गृहमंत्री के बयान के बाद हुआ हमला 

बांग्लादेश में हिंदुओं पर हुए हमलों पर सोमवार को गृह मंत्री असदुज्जमां खान ने बयान दिया था। उन्होंने कहा था कि जानबूझ कर देश का माहौल बिगाड़ने का प्रयास किया जा रहा है। इन हमलों के पीछे एक सोची-समझी साजिश है। उन्होंने कहा था कि हमलों की जांच की जा रही है, जो भी दोषी होगा उसे सजा दी जाएगी। 

13 अक्तूबर से शुरू हुए थे हमले 

बांग्लादेश में 13 अक्तूबर से हिंदुओं पर हमले शुरू हुए हैं। पहले अलग-अलग स्थानों पर दुर्गा पंडालों को निशाना बनाया गया था और हिंदुओं पर हमला किया गया था। इसमें चार हिंदुओं की मौत हो गई थी, वहीं 60 से ज्यादा घायल हो गए थे। इसके बाद इस्कॉन मंदिर को भी निशाना बनाया गया और तोड़फोड़ की गई थी। 

इस्कॉन ने की कार्रवाई की मांग 

बांग्लादेश में हिंदुओं और इस्कॉन मंदिर पर हमले के बाद इस्कॉन सोसायटी की ओर से बयान जारी किया गया है। इसमें बांग्लादेश में हुए हिंदुओं पर हमले की निंदा की गई है साथ ही बांग्लादेश सरकार से मांग की गई है कि हमलों पर त्वरित कार्रवाई करते हुए दोषियों को सख्त से सख्त सजा दी जाए।  

 

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