गोरखनाथ मंदिर हमले में अहम खुलासा: हनी ट्रैप से आईएसआईएस के संपर्क में आया था मुर्तजा, आतंकियों की बताई पढ़ीं किताबें

गोरखनाथ मंदिर हमले में अहम खुलासा: हनी ट्रैप से आईएसआईएस के संपर्क में आया था मुर्तजा, आतंकियों की बताई पढ़ीं किताबें

अमर उजाला ब्यूरो, लखनऊ
Published by: आकाश दुबे
Updated Fri, 08 Apr 2022 11:28 PM IST

सार

गोरखनाथ मंदिर के सुरक्षाकर्मियों पर हमले का आरोपी मुर्तजा साल भर पहले हनी ट्रैप का शिकार हो गया था। एक लड़की ने खुद को आईएसआईएस कैंप में कैद होने की बात कह 40 हजार रुपये ट्रांसफर कराए थे। आरोपी ने आईएसआईएस के आतंकियों द्वारा बताई गईं किताबों को इंटरनेट के माध्यम से डाउनलोड किया और पढ़ा।

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गोरखनाथ मंदिर के सुरक्षाकर्मियों पर हमला करने वाले मुर्तजा ने एटीएस की पूछताछ में अहम खुलासा किया है। उसने बताया है कि वह लगभग साल भर पहले हनी ट्रैप का शिकार हो गया था। एक लड़की ने खुद को आईएसआईएस कैंप में कैद होने की बात कह पैसे मांगे थे। मुर्तजा ने लड़की के खाते में 40 हजार रुपये ट्रांसफर किए थे। उसने मुर्तजा को अपनी तस्वीर भेजी थी और भारत आकर मिलने का वादा भी किया।

सूत्रों का कहना है कि लड़की ने तीन बार अलग-अलग बहाने से मुर्तजा से अपने खाते में पैसे मंगाए। दोनों के बीच ईमेल के जरिए बातचीत शुरू हुई। इसके बाद मुर्तजा ने आईएसआईएस ज्वाइन की। उसने आईएसआईएस के आतंकियों द्वारा बताई गईं किताबों को इंटरनेट के माध्यम से डाउनलोड किया और पढ़ा। इससे वह खुद भी कट्टरपंथी बन गया। उसने मोबाइल एप बनाने की कोडिंग सीखी पर वह कोई ऐसा एप विकसित नहीं कर पाया, जो आईएसआईएस के लिए सहायक हो। 

एटीएस के अधिकारियों का कहना है कि जब तक पूछताछ पूरी नहीं हो जाती है, तब तक इस संबंध में कोई खुलासा नहीं किया जाएगा। एडीजी कानून व्यवस्था प्रशांत कुमार पहले ही कह चुके हैं इस मामले में बारीकी से जांच की जा रही है, जिससे कोई निर्दोष न फंसे और दोषी भी न बच सके।

विस्तार

गोरखनाथ मंदिर के सुरक्षाकर्मियों पर हमला करने वाले मुर्तजा ने एटीएस की पूछताछ में अहम खुलासा किया है। उसने बताया है कि वह लगभग साल भर पहले हनी ट्रैप का शिकार हो गया था। एक लड़की ने खुद को आईएसआईएस कैंप में कैद होने की बात कह पैसे मांगे थे। मुर्तजा ने लड़की के खाते में 40 हजार रुपये ट्रांसफर किए थे। उसने मुर्तजा को अपनी तस्वीर भेजी थी और भारत आकर मिलने का वादा भी किया।

सूत्रों का कहना है कि लड़की ने तीन बार अलग-अलग बहाने से मुर्तजा से अपने खाते में पैसे मंगाए। दोनों के बीच ईमेल के जरिए बातचीत शुरू हुई। इसके बाद मुर्तजा ने आईएसआईएस ज्वाइन की। उसने आईएसआईएस के आतंकियों द्वारा बताई गईं किताबों को इंटरनेट के माध्यम से डाउनलोड किया और पढ़ा। इससे वह खुद भी कट्टरपंथी बन गया। उसने मोबाइल एप बनाने की कोडिंग सीखी पर वह कोई ऐसा एप विकसित नहीं कर पाया, जो आईएसआईएस के लिए सहायक हो। 

एटीएस के अधिकारियों का कहना है कि जब तक पूछताछ पूरी नहीं हो जाती है, तब तक इस संबंध में कोई खुलासा नहीं किया जाएगा। एडीजी कानून व्यवस्था प्रशांत कुमार पहले ही कह चुके हैं इस मामले में बारीकी से जांच की जा रही है, जिससे कोई निर्दोष न फंसे और दोषी भी न बच सके।

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