महाराष्ट्र में जघन्य वारदात: सोलापुर में 16 महीने की बेटी के यौन उत्पीड़न और हत्या के दोषी माता-पिता को फांसी की सजा

महाराष्ट्र में जघन्य वारदात: सोलापुर में 16 महीने की बेटी के यौन उत्पीड़न और हत्या के दोषी माता-पिता को फांसी की सजा

सोलापुर29 मिनट पहले

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महाराष्ट्र के सोलापुर में एक 16 महीने की बच्ची के यौन उत्पीड़न के आरोप में उसके माता-पिता को गुरुवार को फांसी की सजा सुनाई गई। यौन उत्पीड़न करने के बाद पिता ने उसका गला दबाकर हत्या कर दी थी। बच्ची का शव मिलने के बाद पुलिस ने जनवरी में पिता के खिलाफ यौन उत्पीड़न और मां के खिलाफ हत्या में भागीदारी का केस दर्ज किया था। मामले की सुनवाई फास्ट ट्रैक कोर्ट में हुई और सिर्फ 5 महीने में अदालत ने यह फैसला दिया है।

रिश्तों को शर्मसार करने वाली यह वारदात सिकंदराबाद शहर में 3 जनवरी 2022 को हुई थी। बेटी को मारने के बाद पति-पत्नी सिकंदराबाद-राजकोट एक्सप्रेस ट्रेन से शव को ठिकाने लगाने ले जा रहे थे। दोनों को संदेहास्पद स्थिति में देख किसी यात्री ने रेलवे पुलिस को इसकी सूचना दे दी और इस मामले का खुलासा हुआ। दोनों के खिलाफ POCSO एक्ट में मामला दर्ज किया गया। मामले की गंभीरता को देखते हुए सोलापुर सेशन कोर्ट ने इसे फास्ट ट्रैक कोर्ट में ट्रांसफर किया था ।

9 दिनों में 31 गवाहों के दर्ज हुए बयान
आरोपी धोलाराम बिश्नोई और पुनीकुमारी बिश्नोई को पुलिस ने 4 जनवरी 2022 को अरेस्ट किया था। इस मामले में सिर्फ 9 दिनों के भीतर 31 गवाहों के बयान दर्ज किए गए। इनमें से एक महिला गवाह ने नेपाल से सोलापुर आकर पति-पत्नी के खिलाफ बयान दिया था।

अदालत ने इसे ‘क्रूरतम’ अपराध माना है
सरकारी पक्ष ने इस मामले को ‘बेहद गंभीर और क्रूर’ करार दिया था। उन्होंने मांग की थी कि एक माता-पिता की ऐसी हरकत पर कोर्ट को दया नहीं दिखानी चाहिए। सबूतों और गवाहों के बयान सुनने के बाद गुरुवार को अतिरिक्त सत्र न्यायाधीश यू.एस. एल जोशी ने दोनों को मौत की सजा सुनाई है। कोर्ट के फैसले को चैलेंज करने के लिए पति-पत्नी को एक महीने का समय दिया गया है।

इसी ट्रेन से बरामद हुआ था बच्ची का शव।

इसी ट्रेन से बरामद हुआ था बच्ची का शव।

ऐसे हुआ था हत्याकांड का खुलासा
सिकंदराबाद-राजकोट एक्सप्रेस में सोलापुर लोहमर्ग पुलिस ने दंपती को उस समय हिरासत में ले लिया, जब हत्या के बाद वे शव को नष्ट करने के लिए ले जा रहे थे। इस मामले में सोलापुर रेलवे पुलिस बल(GRP) में कार्यरत सहायक पुलिस निरीक्षक अमोल गवली ने FIR दर्ज कराई थी। गवली ने बताया कि किसी को शक न हो और शव खराब न हो इसलिए पति-पत्नी AC कोच में यात्रा कर रहे थे।

ऐसे हुआ पास बैठे यात्रियों को संदेह
पुलिस निरीक्षक अमोल ने बताया कि बच्ची महिला के पास सो रही थी और तकरीबन 8 घंटे सोने के बाद भी बच्ची न उठी, न रोई तो आसपास बैठे यात्रियों को संदेह हुआ। इसके बाद यात्रियों ने टिकट निरीक्षक (TTE) को इसकी सूचना दे दी। उसके बाद जब ट्रेन सोलापुर रेलवे स्टेशन पहुंची तो जीआरपी की एक टीम जांच करने पहुंची। पति-पत्नी को नीचे उतारकर पूछताछ शुरू हुई। शुरू में माता-पिता ने बताया कि बच्ची बीमार थी और रास्ते में उसका निधन हो गया।

पोस्टमार्टम के बाद यौन उत्पीड़न की हुई पुष्टि
हालांकि, पुलिस को माता -पिता की बात पर संदेह हुआ और उन्होंने बच्ची का पोस्टमार्टम करवाया। मेडिकल रिपोर्ट में बच्ची के साथ कथित तौर पर यौन उत्पीड़न और गला दबाकर हत्या की पुष्टि हुई। बाद में पुलिस ने आरोपी माता-पिता को गिरफ्तार कर लिया। कड़ाई से पूछताछ में पिता ने अपना गुनाह भी कबूल कर लिया था। चार्जशीट के मुताबिक, आरोपी ने शराब के नशे में धुत होकर बच्ची का यौन-उत्पीड़न किया था।

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