सचिन पायलट अनशन के बहाने दिखाएंगे दम? गहलोत सरकार के खिलाफ आज जयपुर में देंगे धरना

सचिन पायलट अनशन के बहाने दिखाएंगे दम? गहलोत सरकार के खिलाफ आज जयपुर में देंगे धरना

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राजस्थान के पूर्व उप मुख्यमंत्री सचिन पायलट (Sachin Pilot) ने विधानसभा चुनाव से पहले अपनी ही सरकार के खिलाफ मोर्चा खोल दिया है। कांग्रेस नेता राज्य की पूर्ववर्ती भाजपा सरकार में हुए कथित भ्रष्टाचार पर कार्रवाई नहीं किए जाने को लेकर आज जयपुर में अनशन करेंगे। हालांकि, पार्टी इस फैसले से खफा है।

पायलट ने रविवार को प्रेस कॉन्फ्रेंस कर कहा था, पिछली वसुंधरा राजे सरकार के दौरान हुए भ्रष्टाचार पर (गहलोत सरकार द्वारा) कोई कार्रवाई नहीं की गई। विपक्ष में रहते हुए हमने वादा किया था कि 45 हजार करोड़ रुपये के खदान घोटाले की जांच कराई जाएगी। उन्होंने कहा, चुनाव होने में छह-सात महीने बचे हैं, विरोधी भ्रम फैला सकते हैं कि कुछ मिलीभगत है। मामले में कार्रवाई नहीं होना दुर्भाग्यपूर्ण है, इसलिए कार्रवाई जल्द करनी होगी ताकि कांग्रेस कार्यकर्ताओं को लगे कि हमारी कथनी और करनी में कोई अंतर नहीं है।

बता दें कि पायलट जब प्रदेश कांग्रेस कमेटी के प्रमुख थे तब पार्टी ने यह मुद्दा उठाया था और 2018 के विधानसभा चुनावों में सत्ता में आने पर घोटाले की जांच करने का वादा किया था।

अनशन के लिए खास दिन : पायलट ने कहा, 11 अप्रैल को महात्मा ज्योतिबा फुले की जयंती है। फुले सैनी समुदाय से थे, वही समुदाय जिससे गहलोत आते हैं। इसी दिन मैं जयपुर के शहीद स्मारक पर एक दिन का अनशन करूंगा।

खाचरियावास का समर्थन : खाद्य और नागरिक आपूर्ति मंत्री प्रताप सिंह खाचरियावास ने पायलट की मांग का समर्थन किया है। उन्होंने कहा कि वह पायलट की बात से सहमत हैं और यह सरकार की जिम्मेदारी है कि वह उन मुद्दों पर कार्रवाई करे जो पार्टी ने विपक्ष में रहते हुए उठाए थे। उन्होंने कहा, पायलट पार्टी की धरोहर हैं और राहुल गांधी ने भी यह कहा है। मैं मुख्यमंत्री से भी इस बारे में बात करूंगा और कहूंगा कि हमें कार्रवाई करनी चाहिए।

गहलोत से खटास भरे संबंध

इसी साल राजस्थान में होने वाले चुनावों को देखते हुए यह घटनाक्रम महत्वपूर्ण है। यह मुख्यमंत्री अशोक गहलोत और पायलट के बीच पहले से खटास भरे संबंधों को और बिगाड़ सकता है। दिसंबर 2018 से ही गहलोत और पायलट के बीच मुख्यमंत्री पद को लेकर खींचतान रही है।

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