Covishield वैक्सीन लगवाने वालों को लेनी चाहिए टेंशन? खुलासे के बाद क्या कह रहे एक्सपर्ट्स; जानिए

Covishield वैक्सीन लगवाने वालों को लेनी चाहिए टेंशन? खुलासे के बाद क्या कह रहे एक्सपर्ट्स; जानिए

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Covishield News: कोविशील्ड वैक्सीन की निर्माता एस्ट्राजेनेका कंपनी ने कोरोना महामारी के बाद से उपलब्ध टीकों की अधिकता के कारण अपनी कोविड-19 वैक्सीन को वापस लेने की घोषणा की है। कंपनी ने कहा है कि चूंकि कई प्रकार के कोविड-19 टीके विकसित किए गए हैं, इसलिए उपलब्ध टीकों की संख्या काफी है। कंपनी ने कहा कि इससे मांग में गिरावट आई है। बता दें कि फार्मास्युटिकल दिग्गज ने हाल ही में स्वीकार किया कि भारत में कोविशील्ड के ब्रांड नाम के तहत बेची जाने वाली उसकी कोविड वैक्सीन रक्त के थक्के से संबंधित दुष्प्रभाव पैदा कर सकती है। इस खुलासे के बाद से कोरोनाकाल में कोविशील्ड वैक्सीन लेने वाले लोगों ने स्वास्थ्य पर इसके दुष्प्रभावों और थ्रोम्बोसाइटोपेनिया सिंड्रोम (टीटीएस) के साथ एक दुर्लभ स्थिति थ्रोम्बोसिस के बारे में चिंता व्यक्त की है। ऐसे में लोग सोच रहे हैं कि क्या जिन लोगों ने कोविशील्ड लगवाई है, उन्हें क्या चिंतित होने की जरूरत है या नहीं। जानिए इस बारे में एक्सपर्ट्स की क्या राय है।

हैदराबाद के बंजारा हिल्स के इंटरनल मेडिसिन केयर हॉस्पिटल्स में कंसल्टेंट डॉ. राहुल अग्रवाल ने बताया कि कोविशील्ड, जो कि सीरम इंस्टीट्यूट ऑफ इंडिया द्वारा निर्मित एस्ट्राजेनेका वैक्सीन है, को वापस लेने का निर्णय वापसी के पीछे के कारणों पर निर्भर करता है। यदि यह सुरक्षा या असर को लेकर पैदा हुईं चिंताओं के कारण है, तो लोगों के लिए चिंतित होना स्वाभाविक है। हालांकि, स्वास्थ्य अधिकारियों और विशेषज्ञों के मार्गदर्शन पर भरोसा करना जरूरी है, जो डेटा का व्यापक मूल्यांकन करते हैं। एक्सपर्ट ने आगे कहा, “अगर एस्ट्राजेनेका या किसी अन्य वैक्सीन को सर्कुलेशन से हटा दिया जाता है, तो यह आम तौर पर सुरक्षा या प्रभावशीलता के बारे में चिंताओं के कारण है। ऐसे मामलों में सार्वजनिक स्वास्थ्य अधिकारियों के लिए कारणों के बारे में पारदर्शी रूप से बातचीत करना महत्वपूर्ण है।”

वे आगे कहते हैं, ”यह ध्यान रखना महत्वपूर्ण है कि सभी टीकों के साइड इफेक्ट्स हो सकते हैं, लेकिन ये आम तौर पर टीकाकरण के लाभों से कम होते हैं, खासकर गंभीर बीमारी और कोविड -19 से मृत्यु को रोकने के संदर्भ में। टीकों की सुरक्षा और प्रभावकारिता सुनिश्चित करने के लिए उनका मूल्यांकन किया जाता है, और टीके को वापस लेने का कोई भी निर्णय उपलब्ध आंकड़ों के सावधानीपूर्वक मूल्यांकन के आधार पर किया जाता है।” एक्सपर्ट ने यह भी कहा कि यदि आप किसी टीके की सुरक्षा के बारे में चिंतित हैं, तो स्वास्थ्य देखभाल पेशेवरों से परामर्श करना सबसे अच्छा है जो आपकी व्यक्तिगत स्वास्थ्य परिस्थितियों और उपलब्ध जानकारी के आधार पर व्यक्तिगत सलाह दे सकते हैं।

‘घबराने की जरूरत नहीं, सावधानी बरतने की जरूरत’

वहीं, इंटरवेंशनल पल्मोनोलॉजी और स्लीप मेडिसिन के सलाहकार डॉ. विश्वेश्वरन बालासुब्रमण्यम ने टीके के संभावित दुष्प्रभावों के बारे में विस्तार से बताया। साथ ही आश्वासन दिया कि यह बहुत दुर्लभ है। उन्होंने कहा कि वैक्सीन लगवाने वालों के बीच टीटीएस की घटना युवा व्यक्तियों और पहली खुराक लेने वालों के बीच भी अधिक प्रतीत होती है और असामान्य स्थानों पर थक्के के रूप में आ सकती है और कभी-कभी रक्तस्राव के साथ भी हो सकती है। हालांकि, डॉ. बालासुब्रमण्यम का कहना है कि घबराने की कोई जरूरत नहीं है क्योंकि यह दुष्प्रभाव दुर्लभ है और टीका लेने वाले सभी लोगों को प्रभावित नहीं करता है। वह किसी भी ध्यान देने योग्य लक्षण के प्रति सावधानी बरतने की सलाह देते हैं।

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